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पाकिस्तानी आर्मी की फिर गीदड़भभकी…कहा- अब भारत से युद्ध हुआ तो तबाही होगी, पीछे नहीं हटेंगे

नई दिल्ली। पाकिस्तानी सेना ने भारत को एक बार फिर गीदड़भभकी दी है। उसने भारत को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर अब दोनों देशों के बीच युद्ध हुआ तो विनाशकारी तबाही होगी। यदि शत्रुता का एक नया दौर शुरू हुआ तो पाकिस्तान पीछे नहीं हटेगा। हम बिना किसी हिचकिचाहट से जवाब देंगे। दरअसल, आर्मी चीफ उपेंद्र द्विवेदी ने अभी हाल ही बयान दिया था कि पाकिस्तान की ओर से कोई हरकत की जाती है तो अगली बार दुनिया के नक्शे से साफ होगा। भारत ने ऑपरेशन 1.0 में संयम बरता था, लेकिन अगली बार संयम नहीं रखेगा।
अब पाकिस्तानी सेना के मीडिया विंग आईएसपीआर ने जारी कर कहा कि भारतीय रक्षामंत्री और सेना के अधिकारियों के गैर-जिम्मेदाराना बयान आक्रामकता को बढ़ावा देने का प्रयास है। इससे दक्षिण एशिया में शांति और स्थिरता को गंभीर खतरा हो सकता है।
भुज में रक्षा मंत्री ने भी कहा था- देश अब गौरव से समझौता नहीं करेगा
बता दें कि दो दिन पहले दशहरा पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह गुजरात के भुज के दौरे पर पहुंचे थे। यहां भुज में उन्होंने शस्त्र पूजन किया था और आर्मी से मिलकर उनका हौसला बढ़ाया था। इस दौरान उन्होंने कहा था कि जब भी भारत के गौरव और सम्मान की बात आएगी, देश कभी समझौता नहीं करेगा। भारत अपनी एकता और अखंडता की रक्षा के लिए जरूरत पड़ने पर किसी भी सीमा को पार कर सकता है। पाकिस्तान के किसी भी हिमाकत की ऐसा जवाब देंगे कि उसका इतिहास-भूगोल बदल जाएगा।
दशहरे पर आर्मी चीफ उपेंद्र द्विवेदी ने भी पाकिस्तान को चेताया था
दशहरे पर आर्मी चीफ उपेंद्र द्विवेदी ने अपने बयान में कहा था कि भारत अब पाकिस्तान की हिमाकत पर संयम नहीं रखेगा। इस बार हम आगे की कार्रवाई करेंगे और कुछ इस तरह की कार्रवाई करेंगे कि पाकिस्तान को सोचना पड़ेगा कि उसे भूगोल में रहना है या नहीं। अगर पाकिस्तान को भूगोल में अपनी जगह बनानी है, तो उसे अब आतंकवाद को संरक्षण देना बंद करना पड़ेगा। वहीं, ऑपरेशन सिंदूर में पाकिस्तान के करीब 12 से 13 विमान तबाह किए गए थे।
अब पाकिस्तान ने ये कहा है…
जंग को बढ़ावा देने वाले बयान चिंताजनक है। ये गैर-जिम्मेदाराना बयान आक्रामकता के लिए मनमाने बहाने गढ़ने के एक नए प्रयास की ओर इशारा करते हैं। इस साल की शुरुआत में भारत की आक्रामकता ने दो एटमी ताकतों को एक बड़ी जंग की कगार पर ला खड़ा किया था।
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